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Tuesday 1 March 2016

दर्शकों और श्रोताओं की नब्ज को टटोलने का प्रयास करना है लोक कलाकारों को : सिरोहीवाल

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दर्शकों और श्रोताओं की नब्ज को टटोलने का प्रयास करना है लोक कलाकारों को : सिरोहीवाल
पांच जिलों के लोक कलाकारों को दिए मंच संचालन के गुर, अम्बाला मंडल की चार दिवसीय कार्यशाला में विषय विशेषज्ञों ने दिए लोक धुनों व लोक संगीत के टिप्स

कुरुक्षेत्र 24 फरवरी - संगीत और लोक कला के धुरंधरों ने प्रदेश के विभिन्न पांच जिलों से आए लोक कलाकारों को हरियाणा की माटी से जुड़े संगीत और कलाओं के बारे में गूढ़ जानकारी दी और गीतों तथा संगीत के माध्यम से सरकार की योजनाओं को प्रभावी तरीके से जन-जन तक पहुुंचाने के टिप्स भी दिए। इन विषय विशेषज्ञों को बुधवार को मल्टी आर्ट कल्चरल सेंटर मेें सूचना, जन सम्पर्क एवं सांस्कृतिक कार्य विभाग की तरफ से अम्बाला मंडल के भजन पार्टी सदस्यों व खंड प्रचार कार्यकर्ताओं की कार्यशाला में बुलाया गया था। 
सेवानिवृत जिला सूचना एवं जन सम्पर्क अधिकारी देवराज सिरोहीवाल ने लोक कथाओं की प्रस्तुति में भावभंगिमाओं और रंग तथा विभिन्न रसों के बारे में जानकारी देते हुए कहा कि लोक कलाकारों को अपनी प्रस्तुति के दौरान अपने हाव-भाव पर विशेष ध्यान देना चाहिए। प्रस्तुति देने वाले कलाकार को दर्शकों और श्रोताओं को देखकर अपनी प्रस्तुति को प्रभावी ढंग से देना चाहिए। कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय संगीत विभाग के विद्यार्थी एवं प्रसिद्ध युवा लोक कलाकार दिलावर कौशिक ने रागनियां सुनाकर कलाकारों को लोक संगीत और शास्त्रीय संगीत की बारीकियों से अवगत करवाया। उन्होंने कहा कि क्लासिकल म्यूजिक ही पहले लोक संगीत था। जब लोक संगीत को नियमों में बांध दिया गया, तब वह शास्त्रीय संगीत कहलाया। उन्होंने कहा कि भक्ति संगीत, लोक संगीत और शास्त्रीय संगीत एक ही पहलू है। सभी को एकाग्रचित होकर गाना चाहिए और निरंतर अभ्यास करना चाहिए। 
दोपहर के सत्र में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय संगीत विभाग की चेयरमैन प्रो. सुचिस्मिता ने लोक कलाकारों को संगीत में दृश्यात्मकता की अवधारणा, सुरीला गीत, सहज स्वभाव और नये साहित्य का संकलन करने के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए कहा कि लोक गीत व संगीत को अच्छा बनाने के लिए मन के भावों को पहचानने की जरुरत है। जब कलाकार अपने मन के भावों को शब्दों में पिरोता है तो निश्चित ही नया गीत और संगीत जन्म लेता है। इस प्रकार ये गीत और संगीत दर्शकों और श्रोताओं पर अपनी छाप छोड़ते हैं। उन्होंने लोकगीत और शास्त्रीय संगीत के बारे में बताते हुए कहा कि लोकगीतों में शास्त्रीय संगीत का मिश्रण करके लोकगीतों को प्रभावी बनाया जा सकता है। 
उन्होंने रागों के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए विभिन्न रागों को भजन गाकर बताने का प्रयास किया। उन्होंने कहा कि उम्र के बढऩे से ज्ञान नहीं बढ़ता, बल्कि ज्ञान को अर्जित करने की जरुरत रहती है। इसी तरह संगीत का निरंतर ज्ञान अर्जित करना बहुत जरूरी है। कलाकार की हर जगह एक परीक्षा होती है और इस परीक्षा को पास करने के लिए संगीत का विशेषज्ञ होना बहुत जरूरी है। उन्होंने करीब 8-10 लोकगीत, भजन की प्रस्तुति देकर कार्यशाला के दोपहर बाद के सत्र में संगीत रस भरने का काम किया। इस कार्यशाला के मंच का संचालन वर्कशाप के संयोजक एवं एआईपीआरओ नरेंद्र सिंह ने किया। इस मौके पर जिला सूचना एवं जन सम्पर्क अधिकारी सुनील कुमार, एआईपीआरओ धर्मेंद्र सिंह, मैक की संयोजिका रीना गौरी, धर्मपाल आदि मौजूद थे। 


वार्षिक विज्ञान प्रश्नोत्तरी परीक्षा के लिए किया 16 टीमों का चयन

कुरुक्षेत्र 24 फरवरी - कुरुक्षेत्र पैनोरमा एवं विज्ञान केंद्र में बुधवार को वार्षिक विज्ञान प्रश्नोत्तरी के निर्णायक चरण का आयोजन किया गया। कुरुक्षेत्र पैनोरमा व विज्ञान केंद्र में 2 फरवरी 2016 से वार्षिक विज्ञान प्रश्नोत्तरी परीक्षा के माध्यम से कुरुक्षेत्र, कैथल, करनाल, अम्बाला एवं पानीपत जिलों के विभिन्न विद्यालयों की प्रतिभागी टीमों से कुल 16 टीमों का चयन किया गया। 
यह जानकारी देते हुए पैनोरमा विज्ञान केंद्र के इंचार्ज राज महरौत्रा ने बताया कि 11 फरवरी 2016 को मौखिक विज्ञान प्रश्नोत्तरी का आयोजन किया गया था तथा 16 में से 8 टीमों को विजेता घोषित किया गया। इसके बाद 16 फरवरी 2016 को इस वार्षिक विज्ञान प्रश्नोत्तरी के सेमीफाईनल चरण का आयोजन किया गया जिसमें 4 टीमों को फाईनल निर्णायक चरण हेतु चुना गया। 24 फरवरी बुधवार को हुए निर्णायक चरण में महाराणा प्रताप पब्लिक स्कूल कुरुक्षेत्र ने प्रथम स्थान, गीता निकेतन आवासीय विद्यालय कुरुक्षेत्र ने द्वितीय स्थान, गुरुकुल कुरुक्षेत्र ने तृतीय स्थान तथा महाराजा अग्रसेन पब्लिक स्कूल कुरुक्षेत्र एवं विश्वास पब्लिक स्कूल शाहाबाद ने सांत्वना पुरस्कार प्राप्त किया। केंद्र के परियोजना समायोजक डा. राज मेहरोत्रा ने बताया कि वार्षिक विज्ञान प्रश्नोत्तरी प्रतियोगिता विद्यार्थियों के वैज्ञानिक बोध का मूल्यांकन करती है तथा उनमें प्रतिस्पर्धा की भावना को बढ़ाती है। डा. मेहरोत्रा ने बताया कि 26 फरवरी से 28 फरवरी 2016 तक केंद्रों में राष्ट्रीय विज्ञान दिवस के अवसर पर विभिन्न कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा। 

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देश की आजादी के लिए हजारों क्रांतिकारियों ने दी शहादत : अशोक कुमार

कुरुक्षेत्र 24 फरवरी - नेहरू युवा केंद्र के समन्वयक अशोक कुमार ने कहा कि देश की आजादी को हासिल करने के लिए हजारों क्रांतिकारियों ने शहादत दी है। वे बुधवार को नेहरू युवा केंद्र में राष्ट्रीय युवा कोर प्रशिक्षक शिविर की तरफ से आयोजित राष्ट्रीय एकता एवं सदभावना अभियान के कार्यक्रम में बोल रहे थे। उन्होंने कहा कि शहादत देने में शहीद उधम सिंह का नाम अग्रणी है, जिन्होंने राम मोहम्मद सिंह आजाद के नाम से माईकल अडवायर को मारकर देश की आजादी का रास्ता साफ किया था। उन्होंने किसी भी धर्म या जाति को भूलकर देश को आजादी दिलाई। इस कार्यक्रम में शहीद उधम सिंह सर्व जीवन ट्रस्ट के सचिव सत प्रकाश एडवोकेट ने भी अपने विचार व्यक्त किए। इस मौके पर ट्रस्ट के प्रधान नरेंद्र सिंह ने राष्ट्रीय एकता एवं सदभावना की शपथ दिलाई। इस कार्यक्रम में लेखाकार कांता बतान, सुनीता रानी के अलावा 8 जिलों के विद्यार्थियों ने भाग लिया। 

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नगर परिषद ने चलाया अतिक्रमण हटाने का अभियान

कुरुक्षेत्र 24 फरवरी - नगर परिषद के कार्यकारी अधिकारी एमएस जगत ने कहा कि शहर में लोगों की सुविधा को ध्यान में रखते हुए अतिक्रमण को हटाया गया है। नगर परिषद का यह अभियान भविष्य में भी निरंतर जारी रहेगा। बुधवार को देर सायं नप के ईओ एमएस जगत, सचिव केएल बटला, राकेश मग्गु एमई, बिल्डिंग इंस्पेक्टर हंस राज व रमेश, सीएसआई रविंद्र बिश्नोई तथा अन्य अधिकारियों के नेतृत्व में अतिक्रमण हटाओ अभियान की शुरूआत की गई। इस टीम ने कृष्णा गेट से मेन बाजार से बिरला मंदिर, छोटा बाजार, पुराना बाजार, पुराना बस स्टैंड तक अतिक्रमण हटाया। ईओ एमएस जगत ने कहा कि दुकानदारों को अतिक्रमण हटाने के लिए कई बार नोटिस दिया गया और मौखिक रूप से भी कई बार सडक़ों से समान हटाने की चेतावनी दी गई। लेकिन बार-बार कहने के बावजूद अतिक्रमण नहीं हटाया गया। इसलिए नगर परिषद ने विशेष अभियान चलाकर अतिक्रमण को हटाया है।

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आरक्षण के दंगा पीडि़त लोगों को आर्थिक सहायता मुहैया करवाने व कार सेवा करने की चलाएंगे प्रदेशभर में मुहिम : सुधा
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विधायक सुभाष सुधा ने आरक्षण में दंगा पीडि़तों की राहत के लिए दी 11 लाख की राशि, प्रदेशभर के सभी विधायकों व व्यापारियों से की राहत के लिए अनुदान राशि देने की अपील, विधायक प्रदेशभर में कारसेवा करने के लिए गठित करेंगे टीमें, राहत देने के लिए अधिक से अधिक अनुदान राशि जुटाने की चलाएंगे मुहिम, मुख्यमंत्री से राहत कोष गठित करने की करेंगे मांग

कुरुक्षेत्र, 24 फरवरी () : थानेसर के विधायक सुभाष सुधा ने कहा कि आरक्षण की मांग को लेकर हुए दंगा पीडि़त लोगों को अधिक से अधिक आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाने और प्रतिष्ठानों व कारोबार में मदद करने के उद्देश्य से प्रदेशभर में कारसेवा करने की एक मुहिम को शुरू किया जाएगा। इसके लिए बकायदा अलग-अलग कमेटियों का गठन किया जाएगा। इतना ही नहीं मुख्यमंत्री मनोहर लाल से लोगों को आर्थिक सहायता मुहैया करवाने के लिए मुख्यमंत्री राहत कोष गठित करने की मांग की है। इस राहत कोष में विधायक ने 11 लाख रुपए अनुदान राशि देने की भी घोषणा की है। इसके अलावा हरियाणा के सभी विधायकों व आमजन से राहत कोष में अधिक से अधिक आर्थिक सहायता देने की अपील भी की है। 
विधायक सुभाष सुधा ने आज यहां अपने निवास कार्यालय पर बातचीत करते हुए बताया कि हरियाणा में आरक्षण आंदेालन के दौरान रोहतक, सोनीपत, झज्जर, हिसार, गोहाना, जींद, कैथल व अन्य कई जिलों में आमजन के साथ-साथ व्यापारियों को आर्थिक रूप से खासा नुक्सान हुआ है। जिन लोगों को आर्थिक रूप से नुक्सान हुआ है, उनका नुक्सान केवलमात्र धन से पूरा नहीं किया जा सकता है लेकिन वे भी तन-मन-धन से पीडि़त लोगों को सहायता पहुंचाने का हर भरसक प्रयास करेंगे। इसके लिए सबसे पहले मुख्यमंत्री मनोहर लाल से मुख्यमंत्री राहत कोष बनाने की मांग की है और इस राहत कोष के लिए वे सबसे पहले 11 लाख रुपए की राशि देंगे। इतना ही नहीं पंचनद स्मारक ट्रस्ट की तरफ से भी आर्थिक सहायता राशि मुहैया करवाई जाएगी। उन्होंने कहा है कि मुख्यमंत्री सभी जिलों में नुक्सान का आंकलन करने के लिए विधायकों की एक कमेटी बनाएं। यह कमेटी सभी जिलों में जाकर वास्तविक रूप से हुए नुक्सान का आंकलन करेगी और इस रिपोर्ट के आधार पर पीडि़त लोगों को अधिक से अधिक आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाई जाए। 
उन्होंने हरियाणा प्रदेश के सभी विधायकों से मुख्यमंत्री द्वारा बनाए जाने वाले राहत कोष में अधिक से अधिक धनराशि देने की अपील की है। इसके अलावा उन्होंने हरियाणा प्रदेश के सभी लोगों और अन्य जिलों के व्यापारियों से दिल खोल कर लोगों को आर्थिक सहायता उपलब्ध करवाने की मांग की है। वे शीघ्र ही कुरुक्षेत्र व आसपास के जिलों के व्यापारियों से मिलकर मुख्यमंत्री राहत कोष के लिए अनुदान राशि देने की अपील करेंगे। उन्होंने कहा है कि पीडि़त लोगों को आर्थिक सहायता के अलावा कारसेवा के रूप में भी मदद करेंगे। सभी जिलों में कारसेवा करने के लिए कमेटियां गठित की जाएंगी और इन कमेटियों के साथ वे स्वयं भी सभी जिलों में जाकर लोगों की मदद करेंगे। एक बार फिर उन्होंने प्रदेश के सभी लोगों, विधायकों से मुख्यमंत्री राहत कोष के लिए आर्थिक सहायता मुहैया करवाने की अपील की है।

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